GA4-314340326 बेंगाबाद अंचल में ACB ने 6 हजार रिश्वत लेते CI व सहयोगी रंगे हाथ गिरफ्तार

बेंगाबाद अंचल में ACB ने 6 हजार रिश्वत लेते CI व सहयोगी रंगे हाथ गिरफ्तार

 

अमित सहाय/ गिरिडीह : भ्रष्टाचार के खिलाफ जीरो टॉलरेंस की नीति अपनाते हुए एंटी करप्शन ब्यूरो (ACB) ने गिरिडीह जिले के बेंगाबाद अंचल कार्यालय में बड़ी कार्रवाई की है। एसीबी की टीम ने जाल बिछाकर अंचल निरीक्षक (CI) सुरेंद्र यादव और उनके निजी सहयोगी मुकेश कुमार को 6,000 रुपये रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया। इस कार्रवाई से पूरे प्रशासनिक महकमे में हड़कंप मच गया है।

कैसे बिछाया जाल?

जानकारी के अनुसार, एक पीड़ित रैयत ने एसीबी से लिखित शिकायत की थी कि जमीन संबंधी कार्य के निष्पादन के लिए सीआई सुरेंद्र यादव द्वारा लगातार पैसों की मांग की जा रही थी। शिकायत का सत्यापन करने के बाद एसीबी ने इसे सही पाया और योजनाबद्ध तरीके से तहसील कचहरी में दबिश दी। जैसे ही शिकायतकर्ता ने तय रकम सीआई और उसके सहयोगी को सौंपी, पहले से सतर्क एसीबी की टीम ने दोनों को दबोच लिया।

महदैया मौजा: कागजों का खेल व विवादों का अंचल

बेंगाबाद अंचल कार्यालय में भ्रष्टाचार की जड़ें कितनी गहरी हैं, इसका अंदाजा महदैया मौजा के एक मामले से लगाया जा सकता है।

 * मामला: खाता संख्या 1, प्लॉट संख्या 198।

 * गड़बड़ी: इस प्लॉट का कुल रकबा 1.10 एकड़ है, लेकिन राजस्व कर्मचारियों और अंचल अधिकारी की मिलीभगत से 1.50 एकड़ (कुल रकबे से अधिक) की जमाबंदी कायम कर दी गई है।

 * असर: इस तरह की अवैध जमाबंदी से क्षेत्र में भूमि विवाद बढ़ रहे हैं और असली रैयत अंचल कार्यालय के चक्कर काटने को मजबूर हैं।

निजी सहयोगियों के जरिए 'वसूली का नेटवर्क'

अंचल कार्यालयों में एक नया ट्रेंड देखने को मिल रहा है, जहाँ सरकारी राजस्व कर्मचारी और निरीक्षक अपने साथ निजी सहयोगियों (बिचौलियों) को रखते हैं। आम जनता का काम तब तक नहीं होता जब तक वे इन सहयोगियों के संपर्क में नहीं आते। जैसे ही "लेन-देन" तय होता है, फाइलें तेजी से दौड़ने लगती हैं।








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